
शिक्षा के मन्दिर में खड़ी गाँजे की फसल प्रदेश में नशे के अवैध कारोबारियों के खिलाफ सरकार की जानिब से एक मुहिम छेड़ी हुई है। नशे के सौदागरों पर क्या इस मुहिम का असर होता दिखाई दे रहा है। वैसे इस मुहिम को अमली जामा पहने के लिए सरकार के नुमाइंदों ने भी अभियान चला रखा है। तो वही दूसरी जानिब शिक्षा के मंदिर में खड़ी अवैध गाँजे की फसल सारे दावों की पोल खोलती नज़र आ रही है। शिक्षा के मंदिर में इस तरह से सैकड़ो की तादाद में खड़े अवैध गाँजे के पौधे सारे सिस्टम को कटघरे में खड़ा करने के लिए काफी है। आखिर शिक्षा के मन्दिर में गाँजे का क्या काम, गाँजे के पौधे स्कूल के अंदर किस तरह पहुँचे, जिसका किसी के पास कोई माकूल जवाब नही है। शिक्षा के मंदिर में बच्चों के भविष्य को संवारने, निखारने की ज़िम्मेदारी होती है। यहीं से बच्चों का भविष्य की नींव रखी जाती है। इसी नींव पर इनके भविष्य की इमारत खड़ी होती है शिक्षा के मंदिर से निकल कर इन्ही बच्चों के हाथों में देश का भविष्य होता है। अगर उसी शिक्षा के मंदिर में अवैध गाँजे की फसल खड़ी दिखाई दें तो उस शिक्षा के मंदिर में शिक्षा लेने वाले छात्रों का भविष्य कैसा होगा आप खुद अंदाज़ा लगा सकते है। जहाँ अभिभावक अपने बच्चों को शिक्षा लेने के लिए घर से भेजते है। उसी शिक्षा के मंदिर में इस तरह का मामला सामने आना चिन्ता का विषय है।