Breaking Newsराजनीती

2024 से ठीक पहले Rahul Gandhi क्या करिश्मा दिखा पाएंगे….

2024 से ठीक पहले Rahul Gandhi क्या करिश्मा दिखा पाएंगे?

लोकसभा चुनाव में भाजपा के खिलाफ 28 दलों का विपक्षी मोर्चा चुनौती देने जा रहा है. कांग्रेस भी कम सीटों पर चुनाव लड़ेंगी. ऐसे में राहल अपनी यात्रा फिर से शुरू करने जा रहे हैं. क्या भारत न्याय यात्रा से वह कोई करिश्मा करने वाले हैं

2024 के लोकसभा चुनाव से ठीक पहले राहुल गांधी (Bharat Jodo Yatra 2) फिर सड़क पर उतरने वाले हैं. इस बार प्रियंका गांधी की भी भूमिका अहम हो सकती है जिससे राहुल चुनाव पर भी फोकस कर सकें. कुछ दूरी पैदल और कुछ बस से तय की जाएगी. कांग्रेस पार्टी मानकर चल रही है कि इस यात्रा का फायदा चुनाव में जरूर होगा. पिछले दिनों कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक में इस पर काफी चर्चा हुई थी. आज पार्टी ने इंफाल से ‘भारत न्याय यात्रा’ का ऐलान कर संकेत दे दिया कि वह मणिपुर के मुद्दे को भूलने नहीं वाली. जी हां, कांग्रेस की ईस्ट-वेस्ट यात्रा 14 जनवरी से शुरू होगी. खुद पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे हरी झंडी दिखाएंगे. पिछली बार राहुल गांधी की कन्याकुमारी से कश्मीर यात्रा का असर कर्नाटक और हिमाचल प्रदेश के चुनावों में देखा गया था. 22 दिन यात्रा कर्नाटक में 511 किमी चली थी. राहुल गांधी करीब 4,000 किमी चले थे. तब 12 राज्यों, 2 केंद्रशासित प्रदेशों से होकर यात्रा 130 दिन तक चलती रही. इस बार राहुल गांधी के नेतृत्व में यात्रा पार्ट-दो 14 राज्यों के 85 जिलों से होकर गुजरेगी. समापन 20 मार्च को मुंबई में हो सकता है. यह ऐसा वक्त होगा जब देश में लोकसभा चुनाव की गहमागहमी चरम पर होगी. ऐसे में राहुल की यात्रा महत्वपूर्ण हो जाती है.

14 राज्य, 6200 किमी और कांग्रेस

6200 किमी कवर करने वाली यात्रा का आज ऐलान हुआ है. कांग्रेस ने लोकसभा चुनाव के लिए कई विपक्षी दलों का गठबंधन (इंडिया अलायंस) बनाया है. पहले की तरह राहुल गांधी इस बार भी युवाओं, महिलाओं और वंचित लोगों से बातचीत करते दिखेंगे. ऐसे में एक सवाल उठता है कि जिन राज्यों से होकर राहुल गांधी गुजरने वाले हैं वहां की स्थिति कैसी है? यात्रा मणिपुर से शुरू होकर नगालैंड, असम, मेघालय, पश्चिम बंगाल, बिहार, झारखंड में प्रवेश करेगी. यहां से ओडिशा, छत्तीसगढ़, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, राजस्थान, गुजरात और आखिर में महाराष्ट्र पहुंचेगी.

… तो ये राहुल की ‘गारंटी’ है?

चुनाव से पहले कांग्रेस का I.N.D.I.A अलायंस सीटों के बंटवारे पर मंथन कर रहा है. ऐसे में राहुल की यात्रा उस रास्ते से होकर निकलने जा रही है, जहां कई राज्यों में अलायंस के घटक दलों की सरकारें हैं. इस बात की पूरी संभावना है कि कुछ दल कांग्रेस की यात्रा में शामिल भी हों. क्या इस यात्रा से राहुल अपने अलायंस का कुछ फायदा करा सकते हैं? बड़े राज्यों की बात करें तो बंगाल, झारखंड, बिहार ऐसे राज्य हैं जहां विपक्ष शासित सरकारें हैं. बाकी एमपी, राजस्थान, छत्तीसगढ़ में कांग्रेस का अच्छा प्रभाव है. महाराष्ट्र में भी अलायंस अपना प्रभाव बनाने की कोशिश करेगा. हो सकता है कांग्रेस के सहयोगी दलों को एक तरह की टेंशन भी हो क्योंकि कांग्रेस पार्टी इस यात्रा के जरिए राहुल गांधी की पीएम कैंडिडेट वाली छवि को भी चमकाना चाहेगी. जयराम रमेश ने आज कहा भी है कि पहले ‘भारत जोड़ो यात्रा’ भारत को जोड़ने के लिए निकाली गई थी. अब ‘भारत न्याय यात्रा’ लोगों को कांग्रेस पार्टी की ओर से राहुल गांधी की ओर से यह आश्वासन देने के लिए है कि आम लोगों को आर्थिक न्याय, सामाजिक न्याय और राजनीतिक न्याय पूर्ण रूप से उपलब्ध हो. इसके लिए कांग्रेस पार्टी वचनबद्ध है.

Related Articles

Back to top button
Bharat AtoZ News
Close