Lucknow;भगवा ध्वज को राष्ट्रीय झंडा घोषित करने की सनातन धर्म के प्रचारक ने कि मांग
यह ध्वज भगवान श्रीराम और श्रीकृष्ण जी के रथों पर फहराया जाता था. यह यज्ञ की ज्वाला का भी रंग है. यज्ञ सभी कर्मों में श्रेष्ठतम कर्म बताया गया है.

Lucknow Desk; सनातन धर्म व गौ रक्षा के प्रदेश प्रचारक रौशन सिंह “चंदन ” ने भारत की राष्ट्रपति महामहिम श्रीमती द्रौपदी मुर्मू जी से पत्र लिखकर मांग किया है कि भगवा ध्वज को राष्ट्रीय ध्वज घोषित करने की कृपा करें क्योंकि देश की करोड़ों जनता अपने घरों, मंदिरों, कार्यालयों पर भगवा ध्वज प्रयोग करती है. भगवा ध्वज भारतीय संस्कृति और धर्म का महत्वपूर्ण प्रतिक है!श्री चंदन ने भगवा ध्वज को त्याग, बलिदान, ज्ञान, शुद्धता और सेवा का प्रतिक बताया. इसका रंग उगते हुए सूर्य का प्रतिनिधित्व करता है जो ज्ञान और वीरता का प्रतिक है. इस ध्वज को सदियों से उपयोग किया जाता रहा है.
रौशन सिंह ने भगवा ध्वज को राष्ट्रीय ध्वज करने की इसलिए मांग उठाया कि यह अग्नि का रंग है जो अधर्म के अंधकार को दूर करके धर्म का प्रकाश फैलाने का सन्देश देता है. यह ध्वज भगवान श्रीराम और श्रीकृष्ण जी के रथों पर फहराया जाता था. यह यज्ञ की ज्वाला का भी रंग है. यज्ञ सभी कर्मों में श्रेष्ठतम कर्म बताया गया है. भगवा ध्वज दीर्घ काल से हमारे इतिहास का मूक साक्षी रहा है. इसमें हमारे पूर्वजों, ऋषियों और माताओं के तप की कहानियाँ छिपी हुई है. यही हम सबका सबसे बड़ा गुरु, मार्गदर्शक और प्रेरक है.